एशियन डेवलपमेंट बैंक (ADB) ने बुधवार को वित्त वर्ष 25 के लिए भारत की ग्रॉस डोमेस्टिक प्रोडक्ट यानी GDP ग्रोथ रेट के अनुमान को घटाकर 6.5% कर दिया है। इससे पहले ADB ने यह अनुमान 7% बताया था। प्राइवेट इन्वेस्टमेंट और हाउसिंग डिमांड में उम्मीद से कम ग्रोथ के कारण एशियन डेवलपमेंट बैंक ने भारत की GDP ग्रोथ रेट के अनुमान को घटाया है। मल्टीलेटरल डेवलपमेंट बैंक ने फाइनेंशियल ईयर 2025-26 के लिए भारत की GDP ग्रोथ रेट के पूर्वानुमान को भी कम कर दिया है। वित्त वर्ष 26 के लिए भारत की GDP ग्रोथ का अनुमान घटाकर 7% किया एशियन डेवलपमेंट बैंक ने वित्त वर्ष 26 के लिए भारत की GDP ग्रोथ रेट के अनुमान को घटाकर 7% कर दिया है। इससे पहले बैंक ने यह अनुमान 7.2% बताया था। ADB ने अपनी रिपोर्ट में यह भी कहा कि एशिया और पैसिफिक इकोनॉमीज के 2024 में 4.9% की ग्रोथ रेट से बढ़ने का अनुमान है, जो ADB सितंबर के 5% के पूर्वानुमान से थोड़ा कम है। मॉर्गन-स्टेनली ने भी भारत की GDP ग्रोथ का अनुमान घटाया कुछ दिनों पहले मॉर्गन स्टेनली ने वित्त वर्ष 25 के लिए भारत की GDP ग्रोथ रेट के अनुमान को रिवाइज कर 6.3% किया था। मल्टीनेशनल इन्वेस्टमेंट बैंक और फाइनेंशियल सर्विसेज कंपनी ने पहले यह अनुमान 6.7% बताया था। सितंबर 2024 को समाप्त तिमाही में ग्रोथ स्लोडाउन के बाद मॉर्गन स्टेनली ने यह डाउनग्रेड किया है। जुलाई से सितंबर के बीच GDP ग्रोथ घटकर 5.4% हुई भारत की GDP ग्रोथ 2024 की जुलाई-सितंबर तिमाही में साल-दर-साल (YoY) धीमी होकर 5.4% हो गई, जो मार्च 2023 के बाद से इसका सबसे निचला स्तर है। मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर के खराब प्रदर्शन के कारण GDP ग्रोथ धीमी हुई है। 2023 की तीसरी तिमाही में ग्रोथ 4.3% रही थी। वहीं एक साल पहले समान तिमाही (Q2FY24) में यह 8.1% थी। पिछली तिमाही यानी, Q1FY25 में ये 6.7% रही थी। भारत का GVA जुलाई-सितंबर तिमाही में 5.6% की दर से बढ़ा है। एक साल पहले की समान तिमाही में GVA ग्रोथ 7.7% रही थी। वहीं पिछली तिमाही में GVA ग्रोथ 6.8% थी। साल दर साल आधार पर सेक्टर वाइज ग्रोथ (FY25 Vs FY24) प्रमुख देशों में भारत अभी भी सबसे तेजी से बढ़ती इकोनॉमी धीमी जीडीपी ग्रोथ के बावजूद भारत प्रमुख अर्थव्यवस्ताओं के बीच अभी भी सबसे तेजी से बढ़ती इकोनॉमी बना हुआ है। इस साल जुलाई-सितंबर तिमाही में चीन की GDP ग्रोथ 4.6% रही। वहीं जापान की जीडीपी 0.9% की दर से बढ़ी है। वस्तुओं और सेवाओं के मूल्य को मापती है GDP GDP यानी ग्रॉस डोमेस्टिक प्रोडक्ट देश में एक अवधि के भीतर उत्पादित वस्तुओं और सेवाओं के कुल मूल्य को मापती है। इसमें देश की सीमा के अंदर रहकर जो विदेशी कंपनियां प्रोडक्शन करती हैं, उन्हें भी शामिल किया जाता है। GDP इकोनॉमी की हेल्थ को बताती है। GDP दो तरह की, रियल और नॉमिनल GDP दो तरह की होती है। रियल GDP में वस्तुओं और सेवाओं की वैल्यू का कैलकुलेशन बेस ईयर की वैल्यू या स्टेबल प्राइस पर किया जाता है। फिलहाल GDP को कैलकुलेट करने के लिए बेस ईयर 2011-12 है। वहीं, नॉमिनल GDP का कैलकुलेशन करंट प्राइस पर किया जाता है। ग्रॉस वैल्यू एडेड यानी GVA क्या है? साधारण शब्दों में कहा जाए तो GVA से किसी अर्थव्यवस्था में होने वाले कुल आउटपुट और इनकम का पता चलता है। यह बताता है कि एक तय अवधि में इनपुट कॉस्ट और कच्चे माल का दाम निकालने के बाद कितने रुपए की वस्तुओं और सेवाओं का उत्पादन हुआ। इससे यह भी पता चलता है कि किस खास क्षेत्र, उद्योग या सेक्टर में कितना उत्पादन हुआ। नेशनल अकाउंटिंग के नजरिए से देखें तो मैक्रो लेवल पर GDP में सब्सिडी और टैक्स निकालने के बाद जो आंकड़ा मिलता है, वह GVA होता है। अगर आप प्रोडक्शन के मोर्चे पर देखेंगे तो इसको नेशनल अकाउंट्स को बैलेंस करने वाला आइटम पाएंगे।
HDFC Bank assures necessary steps after Sebi’s administrative warning over merchant banking rules
The bank informed that it will take necessary steps to address the concerns mentioned in the warning letter and there is no impact on the financial, operation or other activities…
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