बैटरी के दाम 2 साल में 50% घटने के आसार:फिक्की ने ईवी बैटरी, चार्जिंग सर्विस पर टैक्स 18% से 5% करने की मांग की, सरकार विचार करेगी

इलेक्ट्रिक व्हीकल यानी EV के दाम अगले दो साल में खासे कम हो जाएंगे। 2026 तक EV बैटरी की कीमतें 2023 के मुकाबले आधी रह जाएंगी। EV मैन्युफैक्चरिंग में 28-30% लागत बैटरी की ही होती है। गोल्डमैन सैक्स की ताजा स्टडी के मुताबिक, 2022 में दुनियाभर में ईवी बैटरी की औसत कीमत 153 डॉलर (करीब 13 हजार रुपए) प्रति किलोवॉट थी। 2023 में इनके दाम 149 डॉलर (करीब 12,500 रुपए) रह गए। 2026 तक कीमत घटकर 80 डॉलर (करीब 6,700 रुपए) प्रति किलो वॉट रह जाने के आसार हैं। 2022 की तुलना में यह लगभग 50% कम है। बैटरी की कीमतें इस स्तर पर आने के बाद इलेक्ट्रिक कारों के दाम पेट्रोल कारों जितने हो जाएंगे। फिक्की ने ईवी बैटरी, चार्जिंग सर्विस पर टैक्स 18% से 5% करने की मांग की देश में ईवी को प्रतिस्पर्धी बनाए रखने के लिए बैटरी और चार्जिंग सेवाओं पर GST कम करने की जरूरत है। साथ ही, ईवी बिक्री बढ़ाने के लिए पीएम ई-ड्राइव फंड बढ़ाने की भी जरूरत है। फिक्की ने अपने राष्ट्रीय सम्मेलन में सरकार के सामने यह मांग रखी। फिक्की इलेक्ट्रिक व्हीकल कमेटी की चेयरपर्सन सुलाज्जा फिरोदिया मोटवानी ने कहा कि EV बैटरी और चार्जिंग सेवाओं पर 18% GST है। इसे हम 5% तक कम करने का अनुरोध करते हैं। ताकि कंज्यूमर्स के लिए बैटरी, चार्जिंग किफायती हो जाए। फिक्की के प्रसीडेंट और महिंद्रा ग्रुप के एमडी और सीईओ अनीश शाह ने कहा कि इलेक्ट्रिक चार-पहिया वाहनों की वर्तमान में भारत में 1.5% हिस्सेदारी है, ऐसे में अभी भी बहुत काम करने की जरूरत है। प्रधानमंत्री के सलाहकार तरुण कपूर ने कहा- नई इलेक्ट्रिक कार लाने के लिए ऑटोमोटिव इंडस्ट्री को बड़ी भूमिका निभाने की जरूरत है। सरकार टैक्स के मुद्दों सहित सभी पहलुओं पर विचार करेगी। टेस्ला : 15 साल पहले की तुलना में 90% सस्ती रिपोर्ट में कहा गया है कि जब से मॉडर्न इलेक्ट्रिक कारें बाजार में आने लगी हैं, बैटरी के दाम लगातार घटे हैं। अमेरिकी ऊर्जा विभाग के मुताबिक, टेस्ला रोडस्टर की कीमत 15 साल पहले के मुकाबले करीब 90% कम हो गई है। EV की लागत में बैटरी की हिस्सेदारी 8 साल में 50% घटी (स्रोत: स्टैटिस्टा) गिरावट क्यों : इन वजहों से घट रही है बैटरी की कीमत 1. उन्नत होती टेक्नोलॉजी : स्टडी में शामिल विश्लेषकों के मुताबिक, सेल-टू-पैक टेक्नोलॉजी में कम बैटरी मॉड्यूल्स की जरूरत पड़ती है। इससे न सिर्फ बैटरी पैक की लागत कम हो जाती है, बल्कि एनर्जी डेंसिटी भी 30% तक बढ़ जाती है। इससे बैटरी का आकार कम रखने में मदद मिलती है। 2. कच्चे माल के कम दाम : बैटरी मैन्युफैक्चरिंग में लीथियम, कोबाल्ट जैसे कच्चे माल का इस्तेमाल होता है। 2022 तक ये महंगे थे। तब से गिरावट जारी है। 2030 तक यह गिरावट जारी रह सकती है। इसके चलते बैटरी मैन्युफैक्चरिंग की लागत करीब 40% कम हो जाएगी।

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किआ मोटर्स इंडिया ने आज (19 दिसंबर) अपनी नई मिडसाइज SUV सिरोस को भारतीय बाजार में रिवील कर दिया है। कंपनी ने कार को सेगमेंट फर्स्ट प्रीमियम फीचर्स के साथ पेश किया है। भारत में सब-4 मीटर सेगमेंट में यह पहली कार है, जिसकी सभी सीटें वेंटिलेटेड और इलेक्ट्रिकली एडजस्टेबल हैं। इसके अलावा प्रीमियम SUV में 60:40 स्प्लिट रिक्लाइन रियर सीट और पैनारोमिक सनरूफ जैसे सेगमेंट फर्स्ट फीचर्स भी दिए गए हैं। वहीं सेफ्टी के लिए लेवल-2 एडवांस ड्राइविंग असिस्ट सिस्टम (ADAS) और 6 एयरबैग जैसे फीचर भी दिए गए हैं। 3 जनवरी से बुकिंग शूरू होगी
इंडियन मार्केट में कंपनी की ये पांचवी SUV है, जिसे सेल्टोस और सोनेट के बीच प्लेस किया गया है। नई किआ सिरोस को सोनेट की तुलना में ज्यादा प्रीमियम कस्टमर्स को ध्यान में रखकर डिजाइन किया गया है। सिरोस को 6 वैरिएंट में पेश किया गया है। इसमें HTK, HTK (O), HTK+, HTX, HTX+ और HTX+ (O) शामिल हैं। कंपनी इसे मिनी कार्निवाल कह रही है। इसकी बुकिंग 3 जनवरी और डिलीवरी फरवरी 2025 से शुरू होगी। कंपनी ने फिलहाल की कीमतों की घोषणा नहीं की है। सिरोस की कीमत 9 लाख रुपए (एक्स-शोरूम) से शुरू हो सकती है। वर्तमान में भारत में इसके कंपेरिजन में सीधे तौर पर कोई कार नहीं है। परफॉर्मेंस : 1-लीटर का टर्बो-पेट्रोल इंजन
किआ सिरोस में परफॉर्मेंस के लिए दो इंजन ऑप्शन दिए गए हैं। इसमें एक 1-लीटर का टर्बो-पेट्रोल इंजन हो जो 120hp की पावर और 172Nm का टॉर्क जनरेट करता है। ट्रांसमिशन के लिए इस इंजन के साथ 6-स्पीड मैनुअल गियरबॉक्स (MT) और 7-स्पीड डुअल क्लच ऑटोमेटिक गियरबॉक्स (DCT) का ऑप्शन मिलेगा। वहीं, दूसरा 1.5 लीटर का डीजल इंजन मिलेगा, जो 116hp की पावर और 250Nm का टॉर्क जनरेट करता है। ट्रांसमिशन के लिए इसके साथ 6-स्पीड मैनुअल गियरबॉक्स (MT) और 6-स्पीड टॉर्क कन्वर्टर ऑटोमेटिक गियरबॉक्स (AT) का ऑप्शन मिलेगा। कंपनी ने दोनों इंजन के माइलेज का खुलासा नहीं किया है।

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